इस चर्चा के दौरान विधायक ने ऊना बाईपास (रिंग रोड) की कन्सलटेंसी के लिए 45 लाख का बजट जारी करने के लिए नितिन गडकरी का विशेष रूप से आभार व्यक्त किया। विधायक ने नितिन गडकरी के साथ राज्य की अन्य महत्वपूर्ण सड़क परियोजनाओं पर विचार किया गया, जो क्षेत्र में सुगम यातायात और बेहतर कनेक्टिविटी प्रदान करेंगे। इस मौके पर विधायक ने कहा कि हिमाचल प्रदेश के छोटे से जिले ऊना में सोमभद्रा नदी पर तीन बड़े पुलों का निर्माण और गोविंद सागर झील पर लठियानी मंदली पुल के लिए एक हज़ार करोड़ रुपये का प्रावधान केवल केंद्र सरकार की मजबूत इच्छाशक्ति के चलते ही सम्भव हो पाया है।
सतपाल सिंह सत्ती ने कहा कि ऊना जिला सहित हिमाचल प्रदेश भर में जितने भी लोक निर्माण विभाग के तहत सड़क परियोजनाओं के छोटे-बड़े काम चल रहे हैं वह केवल और केवल मात्र केंद्र सरकार द्वारा उपलब्ध करवाए गए बजट के आधार पर ही जारी है। जबकि प्रदेश सरकार का योगदान इन सभी परियोजनाओं में पूरी तरह से शून्य तक सिमटा हुआ है। हिमाचल प्रदेश की सरकार पुरानी और बदहाल हो चुकी सड़कों पर टारिंग तक का काम नहीं करवा पा रही। उन्होंने कहा कि प्रदेश के लोक निर्माण मंत्री केवल मात्र बयानवीर बनकर रह चुके हैं।
ऊना के जिस रिंग रोड की डीपीआर बनवाने की बात कर रहे हैं, उसके लिए केंद्र सरकार द्वारा कन्सलटेंसी बजट भी जारी कर दिया गया है। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश के सरकार केवल मात्र लोगों की जेब से पैसा निकालने के लिए नित नई योजनाएं बना रही है। उन्होंने कहा कि हिमाचल प्रदेश सरकार के आर्थिक कुप्रबंधन के चलते बदहाली के मुहाने पर पहुंचे राज्य को संभालने में केंद्र सरकार ने महत्वपूर्ण योगदान सुनिश्चित किया है, प्रदेश भाजपा इसके लिए केंद्र सरकार की आभारी है।