नई दिल्लीः दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस वे पर काशी टोल पर निजी बाउंसरों और टोल कर्मियों के बीच जमकर मारपीट हुई। निजी कंपनी के बाउंसरों ने टोल का बैरियर उठाकर 3 गाड़ियों को फ्री में निकालने का प्रयास किया, जिसके बाद वहां पर मौजूद टोलकर्मी भिड़ गए। टोल कर्मियों ने एक बाउंसर को पकड़ लिया और इसके बाद विवाद हो गया। पुलिस ने कुछ बाउंसर को हिरासत में लिया और तीनों वाहन पकड़ लिए।
बाउंसरों पर शांतिभंग में कार्रवाई की गई है। गुरुग्राम में गौरव लांगवान की सेंस पाइपर प्राइवेट लिमिटेड नाम से सिक्योरिटी एजेंसी है। यह एजेंसी बाउंसर उपलब्ध कराती है। उत्तराखंड में होने वाले खेल आयोजन के लिए एजेंसी के कुछ बाउंसर दो स्कार्पियो और एक फॉरच्यूनर में सवार होकर परतापुर के काशी टोल पर पहुंचे। यहां एक बाउंसर कार से उतरा और लेन-6 का बैरियर उठाकर तीनों गाड़ियों को फ्री में निकालने लगा। टोल कर्मचारियों ने बाउंसर को दबोच लिया और हाथापाई कर दी। इसके बाद बाकी बाउंसर गाड़ियों से उतर आए और टोल कर्मचारियों से मारपीट हो गई।
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— Encounter India (@Encounter_India) November 22, 2024
टोल पर मौजूद लोगों ने वीडियो बनाकर पुलिस को सूचना दी। पुलिस मौके पर पहुंची और तीनों गाड़ियों को कब्जे में लिया। तीन बाउंसर प्रदीप, अनूप निवासी सेक्टर-84 गुरुग्राम और मोहित निवासी वल्लभगढ़ फरीदाबाद को हिरासत में लिया। तीनों का शांतिभंग में चालान किया गया। टोल के दो मैनेजर पवन राठी और श्याम सिंह समेत तीन कर्मचारी ज्ञानेंद्र, संजय पाल व एक अन्य घायल हो गए।
पुलिस को बाउंसरों ने एक वीडियो दिखाई है। आरोप लगाया कि पहले मारपीट टोल कर्मचारियों ने की। इस वीडियो में एक बाउंसर को घेरकर दबोचने की बात पुष्ट हो रही है। पुलिस ने टोल के सीसीटीवी कैमरों की वीडियो फुटेज भी कब्जे में ली है। दूसरे पक्ष ने भी तहरीर दी है। वहीं इस मामले को लेकर एसपी आयुष विक्रम सिंह ने कहा कि टोल पर निजी एजेंसी के बाउंसर और टोल कर्मचारियों में बिना टोल दिए वाहन निकालने को लेकर विवाद हुआ था। इसी को लेकर मारपीट हुई। पुलिस ने तीन का शांतिभंग में चालान किया है। जांच और कार्रवाई प्रचलित है।