नई दिल्ली: Anil Ambani के बेटे Anmol Ambani पर सेबी ने बड़ी कार्रवाई की है। दरअसल, सेबी ने अनमोल अंबानी पर 1 Crore रुपये का जुर्माना लगाया है। सेबी का कहना है कि अनमोल ने Reliance Home Finance को कर्ज देने के मामले में नियमों का पालन नहीं किया। यह मामला Corporate Loan से जुड़ा है, जिसमें उचित जांच-पड़ताल नहीं की गई। सेबी ने इस मामले में कंपनी के मुख्य जोखिम अधिकारी कृष्णन गोपालकृष्णन पर भी 15 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है। सेबी ने अपने आदेश में कहा कि दोनों को 45 दिन के भीतर जुर्माना जमा करना होगा।
- सेबी की कार्रवाई: अनमोल अंबानी पर सेबी ने 1 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया, क्योंकि उन्होंने रिलायंस होम फाइनेंस को कर्ज देते समय नियमों का पालन नहीं किया।
- मुख्य जोखिम अधिकारी पर जुर्माना: सेबी ने कंपनी के मुख्य जोखिम अधिकारी कृष्णन गोपालकृष्णन पर भी 15 लाख रुपये का जुर्माना लगाया।
- प्रतिबंध और पहले के मामले: अगस्त में, सेबी ने अनिल अंबानी और 24 अन्य को रिलायंस होम फाइनेंस लिमिटेड के फंड हेराफेरी मामले में पांच साल के लिए प्रतिभूति बाजार से प्रतिबंधित किया और उन पर 25 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया।
भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) ने यह ऐक्शन लिया है। अनमोल अंबानी पर रिलायंस होम फाइनेंस मामले में सामान्य प्रयोजन के कॉर्पोरेट कर्ज को मंजूरी देते समय उचित जांच-परख की प्रक्रिया का पालन नहीं करने के लिए एक करोड़ रुपये का जुर्माना लगा। इसके अलावा, रेगुलेटर ने रिलायंस हाउसिंग फाइनेंस के चीफ रिस्क ऑफिसर (सीआरओ) कृष्णन गोपालकृष्णन पर 15 लाख रुपये का जुर्माना लगाया है। यह आदेश तब आया जब अगस्त में सेबी ने रिलायंस होम फाइनेंस लिमिटेड के फंड की हेराफेरी से जुड़े एक मामले में अनिल अंबानी और 24 अन्य को पांच साल के लिए प्रतिभूति बाजार से प्रतिबंधित कर दिया था। साथ ही उन पर 25 करोड़ रुपये का जुर्माना भी लगाया गया था।
अपने आदेश में सेबी ने कहा कि रिलायंस होम फाइनेंस के निदेशक मंडल में शामिल अनमोल अंबानी ने सामान्य उद्देश्य के कॉरपोरेट कर्ज या जीपीसीएल कर्ज को मंजूरी दी थी। वह भी तब जब कंपनी के निदेशक मंडल ने स्पष्ट निर्देश दिया था कि ऐसे कर्ज को मंजूरी नहीं दी जाएगी। अनमोल अंबानी की ओर से 14 फरवरी, 2019 को एक्यूरा प्रोडक्शंस प्राइवेट लिमिटेड को 20 करोड़ रुपये के कर्ज की मंजूरी प्रदान की गई, जबकि निदेशक मंडल ने 11 फरवरी, 2019 को अपनी बैठक में प्रबंधन को आगे कोई भी जीपीसीएल कर्ज जारी नहीं करने का निर्देश दिया था।