
गुरदासपुरः संयुक्त किसान मोर्चा ने चंडीगढ़ में पक्का मोर्चा लगाने की कॉल दी थी। किसानों ने ऐलान किया था कि वह ट्रैक्टर-ट्रॉलियां लेकर चंडीगढ़ की तरफ कूच करेंगे। किसान चंडीगढ़ के सेक्टर-34 में मोर्चा लगाने की तैयारी में थे, लेकिन इससे पहले ही 4 मार्च की रात को किसानों को गिरफ्तार कर लिया गया और कुछ किसानों को घरों में नजरबंद कर दिया गया था।
गुरदासपुर में भी कुछ किसानों को गिरफ्तार किया गया था और रात को गिरफ्तार किए गए किसानों को गुरदासपुर की सेंट्रल जेल में बंद करने के लिए ले जाया जा रहा था। उस समय अन्य किसानों ने इसका विरोध किया और पुलिस के साथ किसानों की धक्का मुक्की शुरू हो गई। किसानों ने कहा कि वह अपने नेताओं को जेल नहीं जाने देंगे।
बता दें, गुरदासपुर पुलिस ने शहर के अलग-अलग गांव से किसानों को उठाया था, जिनमें से भारतीय किसान यूनियन डकोंदा के नेता योद्धा सिंह, दलबीर सिंह, मांगता सिंह व सुखदेव सिंह मेंयानी शामिल थे। जिन्हें थाना सिटी गुरदासपुर में रखा गया था जिसके बाद पूछताछ में बाकी किसानों को छोड़ दिया गया था, लेकिन सुखदेव सिंह को घर में ही नजरबंद कर दिया गया था।
वहीं भारती किसान यूनियन एकता उग्रहां के किसान नेता गुरप्रताप सिंह को भी पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया गया था, जिन्हें रात को गुरदासपुर की सेंट्रल जेल में ले जाया जा रहा था लेकिन उनके साथियों ने इसका विरोध करना शुरू कर दिया जिसके बाद किसानों और पुलिस प्रशासन के कर्मचारियों में काफी धक्का मुक्की देखने को मिली। वहीं महिला किसानों ने आरोप लगाया कि पुलिस ने उनके साथ भी धक्का मुक्की की है और किसानों पर जबरी 751 की धारा लगाकर उन्हें जेल भेजा जा रहा है। उन्होंने कहा कि अगर उनके साथ इसी तरह शोषण होता रहा तो वह सरकार के खिलाफ धरना प्रदर्शन जारी रखेंगे।