
नई दिल्लीः देश की राजधानी दिल्ली में पानी की किल्लत से कोहराम मचा हुआ है। लोग पानी की एक-एक बूंद के लिए मोहताज हो गए हैं। पानी के लिए दिल्ली में कई जगहों पर मटके लेकर प्रदर्शन किए जा रहे हैं। टैंकर से पानी लेने के लिए लोग लंबी-लंबी लाइनों में लगे हुए हैं। दिल्ली में पानी का ऐसा अकाल पड़ेगा, किसी ने सोचा भी नहीं था। पानी की कमी को देखते हुए दिल्ली सरकार ने इमरजेंसी बैठक बुलाई है।
दिल्ली के वसंत विहार की कुसुमपुर पहाड़ी पर टैंकर से पानी लेने के लिए लोग ऐसी तपती धूप में भी लाइन में लगे हुए हैं। घर के पुरुष और लड़के तो ज्यादातर काम पर चले जाते हैं, ऐसे में पानी भरने की जिम्मेदारी घर की महिलाओं की ही होती है। इसके अलावा कई ऐसी जगहें हैं, जहां लोग पानी के लिए रात से ही लाइन में लग जाते हैं।
इसके अलावा कई जगहें ऐसी हैं, जहां लोग पानी की किल्लत से इतने परेशान हैं कि दिल्ली सरकार के खिलाफ ही प्रदर्शन कर रहे हैं। चूंकि पानी भरने के काम का जिम्मा महिलाओं का है। इसलिए एक इलाके में महिलाओं ने मटका फोड़कर दिल्ली सरकार के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया है। वहीं दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि वजीराबाद और ओखला प्लांट की क्षमता कम हुई है। दिल्ली में 1000 MGD पानी का उत्पादन होता है और दिल्ली को साढ़े 1200 MGD की ज़रूरत है। पानी को लेकर 30 साल पहले जो फैसला हुआ उसकी समीक्षा की जानी चाहिए ताकि दिल्ली में पानी की जरूरत को पूरा किया जा सके।