1 July से बदल जाएंगे Credit Cards सहित कई चीजों के नियम, पढ़ें

बिजनेसः जून का महीना खत्म होने वाला है और अगले हफ्ते से जुलाई का महीना शुरू हो जाएगा। आगामी 1 जुलाई से वित्तीय क्षेत्र में कई सारे बदलाव होने वाले हैं। इसमें क्रेडिट कार्ड से जुड़े नए नियम के अलावा, पेटीएम, एसबीआई कार्ड सहित कुछ बैंक भी अपनी तरफ से नए नियम तय करने वाले हैं। आइए, जानते हैं कि 1 जुलाई से कौन-से वित्तीय नियम बदलने वाले हैं।

आईसीआईसीआई बैंक 1 जुलाई से प्रभावी विभिन्न क्रेडिट कार्ड सेवाओं में संशोधन की घोषणा की है। इसमें सभी कार्ड (एमराल्ड प्राइवेट मेटल क्रेडिट को छोड़कर) पर कार्ड रिप्लेसमेंट फीस को 100 रुपए से बढ़ाकर 200 रुपए करना शामिल है।

पेटीएम पेमेंट्स बैंक 20 जुलाई को जीरो बैलेंस राशि वाले और पिछले वर्ष या उससे अधिक समय में कोई लेनदेन न करने वाले निष्क्रिय वॉलेट बंद कर देगा। पेटीएम पेमेंट्स बैंक की वेबसाइट के मुताबिक, कृपया ध्यान दें कि वे सभी वॉलेट जिनमें पिछले 1 साल या उससे अधिक समय से कोई लेनदेन नहीं हुआ है और जिनमें शून्य शेष राशि है, 20 जुलाई से बंद हो जाएंगे। सभी प्रभावित यूजर्स को कम्यूनिकेट किया जाएगा। यूजर्स को अपना वॉलेट बंद करने से पहले 30 दिनों की सूचना अवधि दी जाएगी।

एसबीआई कार्ड ने घोषणा की कि 1 जुलाई से कुछ क्रेडिट कार्ड के लिए सरकारी संबंधित लेनदेन पर रिवॉर्ड पॉइंट्स को स्टोर करना बंद कर दिया जाएगा। एसबीआई कार्ड की ऑफिशियल वेबसाइट के मुताबिक, उन एसबीआई क्रेडिट कार्ड की लिस्ट जहां 15 जुलाई, 2024 से सरकारी संबंधित लेनदेन पर रिवॉर्ड पॉइंट लागू नहीं होंगे।

पंजाब नेशनल बैंक ने भी Rupay Platinum Debit Card के सभी वेरिएंट के लिए लाउंज एक्सेस प्रोग्राम में संशोधन किया गया है। नए नियम 1 जुलाई, 2024 से लागू होंगे। इसमें प्रति तिमाही 1 (एक) घरेलू हवाई अड्डा/रेलवे लाउंज एक्सेस और प्रति वर्ष 2 (दो) इंटरनेशनल एयरपोर्ट लाउंज एक्सेस शामिल हैं।
भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने क्रेडिट कार्ड बिल पेमेंट को लेकर नया नियम जारी किया है। यह नियम 1 जुलाई से लागू होगा। नए नियम के अनुसार क्रेडिट कार्ड बिल पेमेंट के प्रोसेस में बदलाव होगा। इस बदलाव का सीधा असर फोनपे, क्रेड, बिलडेस्क और इंफीबीम एवेन्यूज जैसे फिनटेक प्लेटफॉर्म पर पड़ेगा।
आरबीआई ने सभी बैंकों को आदेश दिया है कि 1 जुलाई 2024 से सभी क्रेडिट कार्ड की पेमेंट भारत बिल पेमेंट प्रणाली (BBPS) के माध्यम से की जानी चाहिए।