
कुछ घंटों पहले ही दर्ज हुआ था करोड़ों की ठगी का मामला
जबलपुरः यहां एक अजीब मामला सामने आया है। सेंट आगस्टीन स्कूल में प्रिंसिपल के तौर पर काम करने वाले फादर पाल्सन की अज्ञात वाहन की टक्कर से मौत हो गई। हैरान कर देने वाली बात यह है कि घटना के कुछ ही घंटों पहले उनके उपर स्कूल फीस को लेकर करोड़ों की ठगी करने के आरोप के चलते एफआईआर दर्ज हुई थी। अब पुलिस को इस घटना ने दुविधा में डाल दिया है कि आखिर ये घटना सच में एक्सीडेंट है या कोई मर्डर।
जानकारी मुताबिक, 13 फरवरी की रात तिलवारा थाना के बायपास के पास एक तेज रफ्तार वाहन ने बाइक सवार 2 लोगों को टक्कर मार दी। घटना में एक युवक की मौके पर ही मौत हो गई, जबकि दूसरे को इलाज के लिए मेडिकल कालेज में भर्ती किया गया था। उसकी हालत अब खतरे से बाहर है। जांच में सामने आया कि जिस व्यक्ति की मौत हुई है, उनका नाम फादर पाल्सन था। वे शहर के सेंट आगस्टीन स्कूल में प्रिंसिपल थे।
बाइक पर बैठे दूसरे साथी का नाम एंथोनी है। पुलिस ने पाल्सन के शव का पंचनामा कर पीएम के लिए मेडिकल काॅलेज भेजकर मर्ग कायम किया था। पुलिस को जांच के बाद पता चला कि एक्सीडेंट के कुछ घंटे पहले ही पाल्सन के खिलाफ दमोह में FIR दर्ज हुई थी। दरअसल, फादर पाल्सन 3 साल पहले दमोह के सेंट नार्बट स्कूल के प्रिंसिपल थे। इस दौरान उन पर छात्रों से फीस के नाम पर करोड़ों रुपए वसूलने के आरोप लगे थे। बताया गया है कि ये रुपए फादर ने किसी दूसरी संस्था में लगा दिए थे। अधिक फीस वसूली को लेकर अभिभावकों ने जब दमोह कलेक्टर से शिकायत की तो उन्होंने जिला शिक्षा अधिकारी को जांच के निर्देश दिए।
जांच के दौरान पाया गया कि प्रिंसिपल रहते फादर पाल्सन ने अपने सहयोगियों के साथ करीब 3 करोड़ 32 लाख रुपए की राशि वसूल की थी। आरोप लगने के बाद फादर पाल्सन का दमोह से जबलपुर के सेंट अगस्टीन स्कूल में ट्रांसफर हो गया था। लंबी जांच चली और दमोह कोतवाली पुलिस ने पिछले साल 11 फरवरी 2024 फादर पाल्सन सहित स्कूल में पदस्थ वर्तमान प्राचार्य फादर अनिल बारा, क्लर्क विनोद मुरप्पा, कोऑर्डिनेटर प्रियंका पीटर, संस्था के संचालक मैनेजर फादर थॉमस, केंडीओ प्रियम और पूर्व मैनेजर फादर अरुलानंदू के खिलाफ धारा 409 और 420 के तहत मामला दर्ज किया था।
दमोह पुलिस ने जांच में पाया कि सेंट नार्बट स्कूल में पदस्थ रहते हुए फादर पाल्सन ने स्टूडेंट्स से 2017-18 से 2022-23 के बीच पढ़ाई और अन्य स्कूल एक्टिविटी के नाम पर करीब 3 करोड़ 32 लाख रुपए वसूले थे। प्रथम दृष्टया पुलिस ने पाया कि स्कूल फीस के नाम पर वसूले गए करोड़ों रुपए की संभवता विदेशी फंडिंग की गई है।
दमोह कलेक्टर के निर्देश पर जिला शिक्षा अधिकारी की टीम ने जांच की। जांच में यह भी पाया कि स्कूल प्रबंधन ने जमकर भ्रष्टाचार किया गया है। दमोह पुलिस सेंट नार्बट स्कूल में फीस के नाम पर हुए करोड़ों रुपए के भ्रष्टाचार की जांच के दौरान 12 फरवरी 2025 को फादर पाल्सन सहित 6 लोगों के खिलाफ धारा 409, 420 के तहत मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी। दमोह पुलिस सभी छह लोगों की गिरफ्तारी की तैयारी कर ही रही थी कि 13 फरवरी को सूचना मिलती है कि जबलपुर के तिलवारा थाना अंतर्गत बाईपास में सड़क दुर्घटना में फादर पाल्सन की मौत हो गई है, जबकि उसका एक साथ एंथोनी घायल हो गया है।
सैंट नार्बट स्कूल में हुए करोड़ों रुपए के भ्रष्टाचार के मामले में दमोह जिले के कोतवाली थाना पुलिस एफआईआर दर्ज कर जांच कर रही थी। इधर 13 जनवरी की रात को फादर पॉलसन की सड़क दुर्घटना में मौत को लेकर कई तरह के सवाल खड़े होने लगे।
मृतक फादर चर्च ऑफ़ मिशनरी स्कूल के एक से एक अधिक उच्च पद पर रहा हैं, इस दौरान उसे प्रोटोकॉल भी मिलता है। तमाम लग्जरी गाड़ियां होने के बावजूद भी उनका बाइक पर बाईपास जाना या एक बड़ा सवाल बना हुआ है। जिस बाइक एमपी 34 एमसी 2172 से फादर का एक्सीडेंट हुआ है, वह दमोह के थीयोफ़िल निवासी सैंट नॉरबर्ट परिसर शांति निकेतन वार्ड नंबर 4 के नाम पर दर्ज हैं।
13 फरवरी की रात पूर्व प्राचार्य फादर अपने दोस्त के साथ पाटन तहसील में स्थित गंगाई क्षेत्र में फॉर्म हाउस पर अपने अकाउंटेंट एंथोनी के साथ बाइक पर गए थे, वहां से वापस लौटते समय तिलवारा के पास उनकी बाइक का एक्सीडेंट हो गया। बताया जा रहा है कि अज्ञात वाहन ने उनकी बाइक को टक्कर मारी थी, जिसके चलते उनकी मौत हो गई। इस घटना के बाद अब सवाल खड़े हो गए हैं कि फादर पोर्शन का एक्सीडेंट हुआ है या फिर उनकी हत्या की गई है।
इधर इस पूरी घटना को लेकर डीएसपी भगत सिंह ग़ठोरिया का कहना है कि जिस वाहन से फादर का एक्सीडेंट हुआ था, वह अज्ञात है। फादर के साथी एंथोनी को होश आ गया है। पूछताछ के दौरान उसका कहना है कि अचानक कोई अज्ञात वाहन पीछे से आया और टक्कर मार कर भाग गया। फिलहाल पुलिस तलाश में जुटी हुई है।