ऊना/सुशील पंडित: पंजाब की सीमा से सटे सनोली, मजारा, मलूकपुर व बीनेवाल पूना गांवों के प्रतिनिधिमंडल ने गत दिनों मुख्यमंत्री जय राम ठाकुर से शिमला में मुलाकात करके पंजाब की पीएसीएल कंपनी से निकल रहे कैमिकल युक्त गंदे पानी की शिकायत की थी। ग्रामीणों की समस्या को लेकर मुख्यमंत्री द्वारा दिए गए आदेशों की अनुपालना करते हुए गत दिवस बहुद्देशीय परियोजनाएं एवं ऊर्जा मंत्री सुखराम चैधरी ने छठे राज्य वित्तायोग के अध्यक्ष सतपाल सिंह सत्ती की उपस्थिति में स्थानीय ग्रामीणों से मिलकर स्थिति का जायजा लिया। ग्रामीणों ने सुखराम चैधरी को बताया कि पिछले कई वर्षों से पीएसीएल कंपनी से निकलने वाले कैमिकल युक्त गंदे पानी से उनकी खेती योग्य भूमि को काफी नुकसान पहुंचा है। इसकी वजह से यहां का पानी न तो पीने योग्य रहा है और न ही सिंचाई के योग्य है। उन्होंने बताया कि लुधियाणा की लैब में टेस्टिंग से इस बात की पुष्टि हो चुकी है।
सुखराम चैधरी ने स्थानीय ग्रामीणों को आश्वासन दिया कि जल्द ही पंजाब सरकार सरकार को अवगत करवाया जाएगा। यदि समस्या का समाधान न हुआ तो एनजीटी के माध्यम से कंपनी के खिलाफ उचित कार्रवाई करके गंदे पानी की समस्या को सुलझाया जाएगा। उन्होंने कहा कि पर्यावरण की दृष्टि से हिमाचल प्रदेश प्राकृतिक सौन्दर्य से परिपूर्ण और स्वच्छ राज्य कहलाता है। प्रदेश के सीमांत गांवों को स्वच्छता को कायम रखने के लिए हर संभव प्रयास किए जाएंगे।