ऊना/सुशील पंडित: प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता विजय डोगरा ने सोमवार को विश्राम गृह ऊना में की गई पत्राकारवार्ता में कहा कि जब से प्रदेश में भाजपा की सरकार बनी है, प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष के तौर पर कुलदीप राठौर ने पदभार संभाला उन्होंने बेहतर तालमाल से कार्य किया है। उन्हीं के नेतृत्व में प्रदेश में कांग्रेस का माहौल बना है। लोगों ने जिस प्रकार कांग्रेस का साथ दिया है उसका श्रेय कुलदीप राठौर को जाता है। कोविड काल में कांग्रेस ने बेहतरीन सेवाएं प्रदान कर जनता का मन जीता है। समय समय पर भाजपा की मौजूदा सरकार कोविड काल में गलत रहे निर्णयों को सामने लाकर जनहित के कार्य का कर्तव्य निभाया। अन्यथा भाजपा सरकार लोगों के दर्द को समझना भूल चुकी है। बिना किसी विचार विमर्श के निर्णय लोगों पर पहले थोप कर बाद में बदलने का काम पलटू प्रदेश सरकार ने किया है। पहले दिन से कांग्रेस ने विपक्ष की साकारात्मक भूमिका अदा की सरकार को हर स्तर पर चेताया। टीकाकरण के लिए भी कांग्रेस ने जागरूकता फैलाई। डोगरा ने कहा कि कोविड काल की तीसरी लहर आ गई है। पहले सरकार ने पांच दिन की नियमावली तय कर दी और उसके बाद फिर निर्णय पलट दिया। शनिवार को बाजार खुले रखने का भी निर्णय तय कर दिया। सवाल यह है कि क्या सरकार ने पहले कोई विचार विमर्श व्यापारी वर्ग से नहीं किया। पांच राज्यों के चुनाव के मद्देनजर केंद्र सरकार के इशारे पर बंदिशों को खाेल दिया क्योंकि अपने कार्यकर्ताओं को इन्होंने भेजना होगा। सरकार समय रहते कोविड पर अंकुश लगाए। आज लोग निजी स्तर ही इलाज के लिए जा रहे हैं।
उन्होंने कहा कि उपमंडल बंगाणा के सिविल अस्पताल को दर्जा तो दे दिया और मंत्री इस क्षेत्र के हैं, वहां अस्पताल में एक डाक्टर के सहारे सेवाएं चल रही है। सिविल अस्पताल में कम से कम 10-12 चिकित्सकों का होना अनिवार्य होता है। कांग्रेस सरकारों के समय वहां समय समय पर चिकित्सीय सेवाएं मिलती रही। जल जीवन मिशन के तहत भी पानी पीने को नहीं है। आखिर नल किन लोगों के लग रहे हैं। इसकी भी जांच होनी अनिवार्य है।
आज नेता प्रतिपक्ष मुकेश अग्निहोत्री और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कुलदीप राठौर बेमिसाल कार्यकाल के चलते कांग्रेस को लोग देख रहे हैं। भाजपा सरकारों की महंगाई की मार लोगों पर पड़ रही है। इसका खामियाजा इन सरकारों को भुगतना पड़ेगा। कांग्रेस किसी के खिलाफ नहीं है। लेकिन भाजपा सरकार कम से कम बिना व्यापारियों से बात किए अपने फैसले लागू न करे। कांग्रेस ने पहली लहर में भी कहा था कि कांग्रेस छोटे और मध्यमवर्गीय व्यपारियों को राहत दे। विडंबना है कि आज तीसरी लहर के समय भी अस्पतालों में आक्सीजन के प्लांट भी निजी स्तर पर है अपने नहीं।